छत्तीसगढ़ में हुए नक्सल मुठभेड़ सुरक्षाबलों को फिर बड़ी सफलता : गृहमंत्री विजय शर्मा
Chattisgarh Naxals Killed: इस साल सुरक्षाबलों ने छत्तीसगढ़ में नक्सलियों के खिलाफ कई बड़े ऑपरेशन किए हैं। अब तक के आंकड़ों के मुताबिक सुरक्षाबलों ने छत्तीसगढ़ में जनवरी 2025 से अब तक 150 से ज्यादा नक्सलियों को मौत के घाट उतारा है। सुरक्षाबलों को अब नक्सलियों के बारे में पुख्ता जानकारी भी मिलने लगी है। जिसकी वजह से नक्सलियों को मार गिराने में उनको बड़ी सफलता मिल रही है।

रायपुर। छत्तीसगढ़ में सुरक्षाबलों को एक बार फिर बड़ी कामयाबी मिली है। खबर है कि सीआरपीएफ के कोबरा कमांडो और डीआरजी के जवानों ने नारायणपुर जिले के अबूझमाड़ जंगल में 20 नक्सलियों को मार गिराया है। खबरों के मुताबिक मारे जाने वाले नक्सलियों में 1.5 करोड़ का इनामी नक्सली नेता बसवा राजू भी है। मारे गए नक्सलियों के पास से बड़ी तादाद में हथियार भी बरामद किए गए हैं। खबर लिखे जाने तक सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच फायरिंग जारी थी। बीते दिनों ही सुरक्षाबलों के जवानों ने छत्तीसगढ़ और तेलंगाना की सीमा पर स्थित कुर्रगुट्टालू पहाड़ पर 24 दिन तक ऑपरेशन चलाकर 31 नक्सलियों को मार गिराया था।
इस साल सुरक्षाबलों ने छत्तीसगढ़ में नक्सलियों के खिलाफ कई बड़े ऑपरेशन किए हैं। अब तक के आंकड़ों के मुताबिक सुरक्षाबलों ने छत्तीसगढ़ में जनवरी 2025 से अब तक 150 से ज्यादा नक्सलियों को मौत के घाट उतारा है। सुरक्षाबलों को अब नक्सलियों के बारे में पुख्ता जानकारी भी मिलने लगी है। जिसकी वजह से नक्सलियों को मार गिराने में उनको बड़ी सफलता मिल रही है। छत्तीसगढ़ में जबसे बीजेपी की सरकार बनी है, तभी से नक्सलियों के खिलाफ बड़े पैमाने पर कार्रवाई की जा रही है। सुरक्षाबलों की कार्रवाई के कारण इस साल छत्तीसगढ़ में दर्जनों नक्सलियों ने सरेंडर भी किया है। इसके अलावा तमाम नक्सली गिरफ्तार कर जेल भी भेजे गए हैं।
केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह लगातार ये कहते रहे हैं कि देश को मार्च 2026 तक नक्सल समस्या से पूरी तरह मुक्त करा दिया जाएगा। अमित शाह का गृह मंत्रालय लगातार नक्सल विरोधी अभियान पर नजर भी रख रहा है। अमित शाह ने बीते दिनों छत्तीसगढ़ का दौरा कर नक्सल विरोधी ऑपरेशन की समीक्षा भी की थी। अमित शाह ने छत्तीसगढ़ की धरती से नक्सलियों का आह्वान भी किया था कि वे हिंसा का रास्ता छोड़कर मुख्यधारा में शामिल हों। अमित शाह ने कहा था कि नक्सलियों के मारे जाने से किसी को भी खुशी नहीं होती। ऐसे में उनको शांति का रास्ता अख्तियार करना चाहिए।